ज़िन्दगी की राहों में तुम्हे जो ग़म मिलेंगेमेरे हौसलों से कम मिलेंगे,जब ख़ुद को तनहा पो कभी,कसम दोस्ती की बस याद करना और सामने हमें पाओगे।
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